जमशेदपुर में जूनियर इंजीनियर के घर 2019 में छापेमारी के दौरान मिले ढाई करोड़ रुपए वर्तमान में निलंबित चीफ इंजीनियर वीरेंद्र राम के ही है से जुड़े मामले की सीबीआई से जांच को लेकर दायर जनहित याचिका पर झारखंड हाईकोर्ट में सुनवाई हुई। याचिका में वीरेंद्र राम की संपत्ति की जांच की मांग की गई है। चीफ जस्टिस संजय कुमार मिश्र एवं जस्टिस आनंद सेन की खंडपीठ में मंगलवार को सुनवाई हुई। सुनवाई के दौरान अदालत ने जूनियर इंजीनियर रासबिहारी सिंह को नोटिस जारी कर अपना पक्ष रखने का निर्देश दिया है। पूर्व में मामले की सुनवाई के दौरान अदालत ने ईडी के जवाब को देखने के उपरांत ईडी से यह पूछा कि छापा मारी के दौरान पकड़े गए पैसे के बारे में इनकम टैक्स को जानकारी दी जानी चाहिए या नहीं। इस पर शपथ पत्र के माध्यम से जवाब सौंपने का निर्देश दिया गया था। आदेश के आलोक में ईडी की ओर से शपथ पत्र के माध्यम से अदालत में जवाब पेश किया गया और राज्य सरकार की ओर से भी अदालत में जवाब पेश किया गया। राज्य सरकार की ओर से अदालत को बताया गया कि विजिलेंस कमिश्नर से अनुमति मिलने के बाद अब वीरेंद्र राम की संपत्ति की जांच शुरू कर दी गई। ईडी ने अपने जवाब में बताया था कि 39 करोड़ 28 लाख रुपये के लगभग की संपत्ति को अटैच किया गया है। अदालत ने प्रार्थी पंकज यादव को ईडी के जवाब पर पत्युत्तर दायर करने का समय दिया।