झारखंड हाईकोर्ट ने गुरुवार को मोरहाबादी स्थित रतन हाईट्स रेसिडेंशियल सोसाइटी की याचिका पर अपना फैसला सुनाया। हाईकोर्ट के जस्टिस राजेश शंकर की कोर्ट ने रतन हाईट्स बिल्डिंग रेसिडेंशियल सोसाइटी की याचिका को स्वीकार कर लिया है। कोर्ट ने नगर आयुक्त द्वारा संशोधित नक्शा पास किए जाने के आदेश एवं संशोधित नक्शे को रद्द कर दिया। कोर्ट ने कहा कि 46 कट्ठा पर जो कॉमन एरिया था, वह कॉमन एरिया ही रहेगा। कोर्ट ने लैंड ओनर और बिल्डर वीकेएस रियलिटी को गड्ढा भरने और यदि उसमें कोई कंस्ट्रक्शन किया है तो उसे हटाने, रिटेनिंग वॉल हटाने और उस जमीन को एक माह में सोसाइटी को हैंड ओवर करने का निर्देश दिया है। मामले में पूर्व में फैसला सुरक्षित रख लिया था। दरअसल, करीब 4 माह से सुनवाई चल रही थी। प्रार्थी की ओर से अधिवक्ता रोहित रंजन सिन्हा ने पक्ष रखा था। वहीं प्रतिवादी की ओर से वरीय अधिवक्ता अनिल कुमार सिन्हा एवं अजीत कुमार ने पैरवी की थी। हस्तक्षेपकर्ता की ओर से वरीय अधिवक्ता वीपी सिंह ने पैरवी की थी। वहीं रांची नगर निगम की ओर से अधिवक्ता शशांक शेखर ने पैरवी की। कोर्ट ने अपने आदेश में कहा कि 86 कट्ठा का नक्शा पास हुआ था वह सही था। उसमें कॉमन एरिया डिसाइडेड था। इसलिए 86 कट्ठा में से 46 कट्ठा को अलग कर उसका संशोधित नक्शा पास करना गलत है। जिसके कारण नगर आयुक्त द्वारा पास किए गए संशोधित नक्शा को रद्द किया जाता है।