देश में घरेलू और कमर्शियल गैस सिलेंडर के लिए ग्राहकों को अब ई-केवाईसी कराना होगा। भारत में तेल से जुड़े व्यापार करने वाली कंपनियां इस दिशा में कदम बढ़ा दी है। जिसके तहत घरेलू और कमर्शियल गैस सिलेंडर के ग्राहकों के लिए ई-केवाईसी नियम जारी किया गया है। हांलाकि अबतक इस नियम के तहत किसी प्रकार की समयसीमा तय नहीं किया गयी है। लेकिन ई-केवाईसी करना सभी ग्राहकों के लिए अनिवार्य है।
पेट्रोलियम मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने कहा कि ई-केवाईसी प्रणाली को लागू किया गया है। इससे फर्जी ग्राहकों की पहचान की जा सकेगी। घरेलू गैस सिलेंडर को बुक करने के लिए कई बार फर्जी खाते का प्रयोग किया जाता है। इस तरह के मामले को रोकने के लिए ही तैयारी की गयी है। तेल का व्यापार करने वाली कंपनियों ने ऐसे फर्जी खातों को खत्म करने, फर्जी बुकिंग पर लगाम लगाने समेत अन्य गतिविधियों को रोकने के लिए ई-केवाईसी प्रणाली को लागू किया है।
उन्होंने कहा कि सार्वजनिक क्षेत्र की तेल कंपनियां इन्हें खत्म करने के लिए पिछले आठ महीनों से ई-केवाईसी प्रक्रिया चला रखी हैं। इस प्रॉसेस से सरकारी तेल कंपनियां एलपीजी ग्राहकों के वैरिफाई और फर्जी खातों को समाप्त करने के लिए आधार आधारित ई-केवाईसी प्रमाणीकरण पर फोकस कर रही हैं। इसके साथ ही उन्होंने स्पष्ट किया कि ई-केवाईसी प्रणाली के लिए तेल कंपनियों और केंद्र सरकार की ओर से कोई समय सीमा तय नहीं की गयी हैं।
जाने कैसे करें ई-केवाईसी
गैस उपभोक्ता घर बैठे खुद अथवा सबंधित कांपनी के एंजेसियों के कार्यालय में जाकर ई-केवाईसी प्रक्रिया को आसानी के साथ पूरा कर सकते है। इसको तीन तरीके से पूरा किया जा सकते है। जिसमें सबसे पहले एलपीजी गैस डिलीवरी स्टाफ आपके आधार विवरण की जांच करेगे। जिसके बाद वह अपने मोबाइल पर एक ऐप के माध्यम से आपके (ग्राहक) का आधार विवरण भरेगा। जिसके बाद उसी वक्त रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर पर ओटीपी मिल जायेगा। उस ओटीपी को दर्ज करें।
दूसरी प्रक्रिया यह है कि उपभोक्ता सीधे गैस वितरक शोरूम पहुंचे। और संपर्क कर ई-केवाईसी सत्यापन प्रक्रिया को वहीं पूरा करवा लें। इसके साथ ही तासरी प्रक्रिया के तहत अगर ई-केवाईसी खुद से पूरी करनी हैं तो, उपयोगकर्ता सीधे तेल कंपनियों के ऐप को इंस्टॉल कर सकते हैं। जिसमें ई-केवाईसी से जुड़े जानकारी उपलब्ध कराना होगा।